अनलॉक -1 में सावधानियां लापवाही में बदलीं , आगे मौसम आफतभरा है , सावधान रहें
नई दिल्ली । देश में कोरोना काल के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार शाम 4 बजे देश को संबोधित किया । इस दौरान पीएम मोदी ने कहा – कोरोना वैश्विक महामारी के खिलाफ लड़ते लड़ते हम अनलॉक 2 में प्रवेश कर रहे हैं , साथ ही हम उस मौसम में भी प्रवेश कर रहे हैं जहां सर्दी जुखाम , बुखार होता है , ऐसे में मामले बढ़ जाते हैं । ऐसे में मेरी आप सभी देशवासियों से प्रार्थना है कि अपना ध्यान रखें । इस दौरान उन्होंने कहा कि हमारे यहा वर्षा ऋतु के दौरान किसानों का काम ज्यादा होता है । ऐसे में हमने फैसला लिया है कि प्रधानमंत्री किसान जनकल्याण अन्न योजना का विस्तार नवंबर महीने के अंतिम समय तक किया जाएगा । यानी 80 करोड़ लोगों को मुफ्त अनाज देने की यह योजना अब आगामी 5 महीनों में भी जारी रहेगी । पीएम मोदी ने कहा कि हमारी सरकार पूरे देश के लिए एक राष्ट्र एक राशन कार्ड की योजना लेकर आ रही है ।
पीएम मोदी ने बरसात के मौसम का जिक्र करते हुए कहा कि साथियों यह बात सही है कि अगर दुनिया के अनेक देशों की तुलना भारत से करें तो भारत की संभली हुई स्थिति दिखती है , समय से किए गए लॉकडाउन और अन्य फैसलों ने लाखों लोगों का जीवन बिताया है , लेकिन हम यह भी देख रहे हैं कि जब से देश में अनलॉक 1 हुआ है , लोगों ने लापरवाही बढ़ा दी है । इस दौरान उन्होंने कहा कि आत्मनिर्भर भारत के लिए हम लोकल के लिए वोकल होंगे । इस संकल्प के साथ हमने काम भी करना है और आगे भी बढ़ना है । मैं फिर से आप लोगों से अनुरोध करता हूं कि आप सभी स्वस्थ रहें और दो गज की दूरी का पालन करते रहिए । गमझा , मास्क का इस्तेमाल करते रहें , कोई लापरवाही न बरतें ।
पहले हम मास्क को लेकर , दो गज की दूरी को लेकर , हाथ धोने को लेकर सतर्क थे , लेकिन आज जब हम ज्यादा सतर्कता की जरूरत है , ऐसे में लापवाही बढ़ना चिंता का कारण है , साथियों लॉकडाउन के दौरान बहुत गंभीरता से नियमों का पालन किया गया । अब सरकारों को स्थानीय निकाय की संस्थाओं को , देश के नागरिकों को फिर से उसी तरह की सतर्कता दिखाने की जरूरत है , विशेषकर कंटेंनमेंट जोन में , जहां हमे विशेष ध्यान देने की जरूरत है , जो भी लोग नियमों का पालन नहीं कर रहे हैं , हमें उन्हें रोकना टोकना होगा और समझाना भी होगा । अभी आपने खबरों में देखा होगा कि एक देश के पीएम पर 13 हजार का जुर्माना इसलिए लग गया क्योंकि वह एक सार्वजनिक जगह पर बिना मास्क के गए थे ।
भारतीय अधिकारियों को भी कुछ ऐसा ही काम चुस्ती से करना होगा । भारत में गांव का प्रधान हो या देश का प्रधानमंत्री कोई भी नियमों से उपर नहीं ।
कोरोना के दौरान ऐसी स्थिति नही आई कि किसी गरीब के घर चूल्हा न जला हो , देश के कई संस्थानों ने पूरा प्रयास किया कि कोई गरीब भूखा न सोए । देश हो या व्यक्ति समय पर फैसले लेने से सवेंदनशीलता से फैसले लेने पर किसी भी संकट से निपटने की शक्ति बढ़ जाती है । इसलिए लॉकडाउन होते ही सरकार गरीबों के लिए योजना लेकर आए । इसके तहत गरीबों को करोड़ों का पैकेज दिया गया । गरीबों के जनधन खाते में पैसा जमा करवाया गया ।