दिल्ली से होगी घोषणा छत्तीसगढ़ निगम मंडलों में संभावितों के नाम तय,…जिनके नामों की चर्चा सूची में भी वही
रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और पीसीसी मोहन मरकाम और वरिष्ठ नेताओं के सुझावों को नियुक्ति में प्राथमिकता दी गई है। गिरीश देवांगन खनिज निगम के चेयरमैन बनाये जा सकते है। निगम-मंडलों में नियुक्ति को लेकर हुई बैठक में संभावित दावेदारों के नाम मुख्यमंत्री ने लगभग फाइनल कर दिए है। सत्ता और संगठन के बीच समन्वय बनाने की दिशा में निष्ठावान कार्यकर्ताओं के दिन बहुरने वाले है। राम गोपाल हाउसिंग बोर्ड या सीआईडीसी, बैजनाथ चंद्राकर खादी ग्राम उद्योग, कुलदीप जुनेजा आरडीए चेयरमैन, रमेश वल्र्यानी, वित्त आयोग मनोज कन्दोई सदस्य के रूप में नाम लगभग फाइनल मान कर चला जा रहा है। अरुण वोरा, विकास उपाध्याय, शैलेष पांडेय, संसदीय सचिव बनाये जा सकते है। बाकि नामों पर आम सहमति बनने के बाद दिल्ली से सूची को आलाकमान से अप्रूव कराने के बाद जारी की जा सकती है। सूत्रों के हवाले से देर रात जनता से रिश्ता को जानकारी मिली है कि प्रदेश के निगम मंडलों में नियुक्ति को लेकर सीएम हाउस में हुई बैठक में नामों पर मुहर लग गई है। बैठक के बाद कांग्रेस सूत्रों ने बताया कि बैठक में दर्जन भर विधायकों को निगम-मंडलों की जिम्मेदारी देने की बात पर सहमति बनी है। सूत्रों ने यह भी दावा किया है कि विकास उपाध्याय, देवेन्द्र यादव और शैलेष पांडेय इसके अलावा अन्य तीन विधायकों के नाम सूची में शामिल है।
33 फीसदी पद महिलाओं के नाम
खबर है कि निगम-मंडल और आयोगों में नियुक्ति को लेकर चल रही मैराथन मंथन के बाद मुख्यमंत्री, पीसीसी अध्यक्ष सहित वरिष्ठों की सहमति मिल गई है। कांग्रेस संगठन के करीब दर्जन भर नेता-कार्यकर्ताओं और विधायकों के नाम पहली सूची के लिए तय कर लिए गए. वहीं इन पदों पर 33 फीसदी महिलाएं भी काबिज रहेंगी। सूत्रों के मुताबिक मुख्यमंत्री निवास में वरिष्ठ नेताओं के साथ हुई बैठक के बाद भूपेश बघेल ने पहली सूची के नामों पर अपनी सहमति दे दी है. बताया जा रहा है कि सावन में पहली सूची जारी कर दी जाएगी. हालांकि इस पर सीधे तौर पर सरकार की ओर से कुछ भी नहीं कहा जा रहा है। बैठक के बाद पत्रकारों से चर्चा में वरिष्ठ मंत्री रविन्द्र चौबे ने कहा कि काफी देर तक बैठक चली है। सार्थक चर्चा हुई है। बहुत सारे नामों पर विचार किया गया है। जो नाम तय हुए उसकी सूची आलाकमान को भेजी जाएगी। निगम-मंडल और आयोग में अध्यक्ष-उपाध्यक्ष बनने की चाह रखने वाले जब से सरकार बनी तभी से इंतज़ार कर रहे हैं। उनका यह इंतज़ार काफी लंबा भी हो चला है। डेढ़ साल सरकार बने हो चुके हैं लेकिन वे अभी इस उम्मीद हैं कि देर-सबेर उन्हें निगम-मंडल में उनकी नियुक्ति हो ही जाएगी। पहली सूची आने वाली है उसमें किन-किन नेताओं के नाम है।
इन्हें भी मिलेगा बड़ा पद
इसके अलावा बड़े और पूर्व मंत्रियों जैसे सीनियर्स कांग्रेस लीडर्स ने निगम-मंडलों में पद लेने से मना कर दिया है। सूत्रों ने बताया कि धनेन्द्र साहू को कैबिनेट मंत्री के दर्जे के बराबर पद देने पर भी सहमति फाइनल कर ली गई है। रायपुर की महापौर रहीं डॉ किरणमयी नायक महत्वपूर्ण पद पर आ सकती हैं। पार्टी में आया राम-गया राम नेता और सत्ता को देखकर आस्था बदलने वाले लोगों पर भी भूपेश सरकार की कड़ी नजर है,वक्त रहते पार्टी में ऐसे लोगों पर उचित कारवाई करना ही आवश्यक होगा अगर इन पर मेहरबानी कर दी गयी और अच्छे पदों से नवाजा गया तो निष्ठावान एवं ईमानदार कार्यकर्ताओं का मनोबल टूटेगा और जो कार्यकर्ता विगत 15 साल में कांग्रेस पार्टी के लिए हर प्रकार का सितम झेले है और तत्कालीन प्रदेश अध्यक्षों के साथ मिलकर कांग्रेस पार्टी के लिए जो संघर्ष किए है उसका बलिदान व्यर्थ चला जायेगा। ऐसा मानना कांग्रेस के पुराने और खाटी राजनीतिक सोच रखने वाले नेताओं की है । चर्चा में यह बात जोरों पर है कि आम कार्यकर्ता मुख्यमंत्री भूपेश बघेल पर आस्था रखते है और कांग्रेस पार्टी और भूपेश बघेल की नेक नियति को लेकर इनके मन में कोई शंका नहीं है। सबको आशा है की भूपेश बघेल निष्ठावान कार्यकर्ताओं के साथ न्याय जरूर करेंगे ।