चुनावी दंगल में घोषणाओं की झड़ी
राजस्थान में चुनावी घमासान मचा है। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने मानसून के आने से पहले ही घोषणाओं की झड़ी लगा दी है। मेडिकल सुविधाएँ, सस्ता रसोई गैस सिलेंडर और महिलाओं को मोबाइल फ़ोन देने की घोषणाएं काफ़ी पॉपुलर हो रही हैं। रविवार को ही घोषणा की गई है कि महिलाओं को मोबाइल फ़ोन बाँटने में दिक़्क़त आई तो इसके बदले उनके खाते में मोबाइल फ़ोन के पैसे भी डाले जा सकते हैं।
उधर, भारतीय जनता पार्टी नए या पहली बार वोट देने वाले मतदाताओं का जगह- जगह जाकर सम्मान कर रही है। भाजपा का यह आइडिया काम तो ज़रूर करेगा, लेकिन केवल युवा मतदाताओं को खींचने भर से पूरी बात बनने वाली नहीं है और भी कई मोर्चों पर काम करना होगा।
सीएम अशोक गहलोत ने दो दिन पहले बड़ी घोषणा की थी। उन्होंने कहा था, महिलाएं खुद मोबाइल खरीद लें। और इसका पैसा सीधे उनके अकाउंट में भेजा जाएगा।
सीएम अशोक गहलोत ने दो दिन पहले बड़ी घोषणा की थी। उन्होंने कहा था, महिलाएं खुद मोबाइल खरीद लें। और इसका पैसा सीधे उनके अकाउंट में भेजा जाएगा।
हालाँकि, राजस्थान ने वर्षों से कभी चुनाव बाद सरकार को रिपीट नहीं किया है लेकिन इस बार की चुनावी जंग कुछ अलग ही कहानी कह रही है। लगता है गहलोत इस बार के चुनाव को अपना आख़िरी चुनाव समझकर पूरी ताक़त और समूचा राजनीतिक कौशल झोंक दे रहे हैं।
उधर, भाजपा अभी तक राजस्थान का अपना चेहरा तय नहीं कर पाई है। पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ही राजस्थान में भाजपा के पास वह तुरुप का इक्का हो सकती हैं जो गहलोत और उनके राजनीतिक कौशल से लोहा लेना जानती हैं। लेकिन ऐसा समझा जा रहा है कि अभी तक भाजपा ने उन्हें हरी झंडी नहीं दी है।